Vol. 10, Issue 3, Part C (2024)
राष्ट्र निर्माण में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की भूमिका, एक समीक्षा
राष्ट्र निर्माण में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की भूमिका, एक समीक्षा
Author(s)
Dr. Satish Chandra
Abstract
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ शुरू से ही अपने आप को पूरे समाज का एक संगठन मानता रहा है। आजादी के बाद भी संघ की इस भूमिका में कोई अंतर नहीं आया। इसलिए, स्वतंत्रता के बाद 1949 ई. में गठित संघ के संविधान में, यह भी स्पष्ट है कि यदि कोई स्वयंसेवक राजनीति में सक्रिय होना चाहता है, तो वह किसी भी राजनीतिक दल का सदस्य बन सकता है। यह संविधान भारतीय जनसंघ की स्थापना से पहले बनाया गया था। जनसंघ की स्थापना के बाद भी कई स्वयंसेवकों और प्रचारकों को देने के बाद भी इसमें कोई बदलाव नहीं हुआ है। इस विचार से राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कार्य अति आवश्यक प्रतीत होता हैं ।
How to cite this article:
Dr. Satish Chandra. राष्ट्र निर्माण में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ की भूमिका, एक समीक्षा. Int J Appl Res 2024;10(3):182-187.