Vol. 3, Issue 4, Part L (2017)
वृद्धावस्था एवं मानसिक स्वास्थ्य
वृद्धावस्था एवं मानसिक स्वास्थ्य
Author(s)
डॉ सीमा गुप्ता
Abstract
वृद्धावस्था को जीवन की अंतिम अवस्था के रूप में भी जाना जाता है वृद्धा अवस्था में व्यक्ति की शारीरिक और मानसिक क्षति का होने लगता है अनेक वृद्ध जो उत्साही प्रवृत्ति के होते हैं वे शारीरिक क्षमता आ जाने पर अपनी कमियों को स्वीकारते हुए मानसिक दृढ़ता सृजनात्मकता व कौशल इत्यादि का प्रदर्शन करते हैं किंतु इस अवस्था में व्यक्ति की अधिगम क्षमता सृजनात्मक क्षमता एवं स्मरण शक्ति भी क्षीण होने लगती है। जिससे शारीरिक क्षति के साथ-साथ उनका मानसिक स्वास्थ्य भी प्रभावित होने लगता है अतः वृद्धावस्था में स्वयं को स्वस्थ रखने के लिए व्यक्ति प्रयासरत रहता है और अनेक मानसिक व शारीरिक निदानात्मक प्रक्रियाओं को अपनाता है। इस दृष्टिकोण को ध्यान में रखते हुए प्रस्तुत शोध पत्र में वृद्धावस्था में मानसिक स्वास्थ्य को प्रभावित करने वाले कार्य को और वृद्धावस्था में मानसिक स्वास्थ्य एवं शारीरिक स्वास्थ्य को प्रभावित करने वाले कारकों पर एवं मानसिक स्वास्थ्य को बनाए रखने वाले कुछ महत्वपूर्ण तथ्यों पर प्रकाश डाला गया है।
How to cite this article:
डॉ सीमा गुप्ता. वृद्धावस्था एवं मानसिक स्वास्थ्य. Int J Appl Res 2017;3(4):910-913.